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दुर्ग में दो नन की गिरफ्तारी से केरल में सियासी भूचाल… वहां से आए चार सांसदों की टीम जेल जाकर ननों से मिली… गिरफ्तारी को बताया साजिश Home/आज की खबर

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दुर्ग में गिरफ्तार दो नन से मिलने केरल से आए चार सांसदों, जेल जाकर ननों से मिले, गिरफ्तारी को बताया साजिश…

 

रायपुर। छत्तीसगढ़ के दुर्ग रेलवे स्टेशन में सोमवार को धर्मांतरण और ह्यूमन ट्रैफिकिंग में दो ननों की गिरफ्तारी से केरल में राजनैतिक भूचाल आ रहा है। मंगलवार को केरल से चार सांसदों फ्रांसिस जॉर्ज (लेफ्ट), एनके प्रेमचंदन (आरएसपी), सप्तगिरि शंकर उल्का (कांग्रेस) और बेनी बेहानन (कांग्रेस) की फैक्ट फाइडिंग टीम दुर्ग पहुंच गई। इन सांसदों ने जेल जाकर दोनों गिरफ्तार ननों से मुलाकात की। सिस्टर प्रीति मेरी (45) तथा सिस्टर वंदना फ्रांसिस (50) केरल के जिस लोकसभा क्षेत्र की हैं, वहां के सांसद भी इस टीम में आए हैं।

बजरंग दल की शिकायत पर रेलवे पुलिस ने नारायणपुर की तीन लड़कियों को छुड़ाया था तथा दोनों नन तथा एक युवक को गिरफ्तार कर लिया था। इस कार्रवाई के दौरान कांग्रेस महासचिव केसी वेणुगोपाल ने सोशल मीडिया पर पोस्ट कर गिरफ्तारियों को साजिश करार देते हुए विरोध किया। चूंकि दोनों गिरफ्तार सिस्टर्स केरल की हैं, इसलिए वहां कल से ही राजनैतिक भूचाल मचा हुआ है। आनन-फानन में केरल से चार सांसदों को तथ्यों का पता लगाने के लिए दुर्ग भेजा गया। मंगलवार को जेल में नन से मुलाकात के बाद सांसद बेन्नी बेहनन, फ्रांसिस जॉर्ज, एनके प्रेमचंद्रन और सप्तगिरी शंकर उल्का ने ननों की गिरफ्तारी की कड़ी निंदा की। सांसद बेनी बेहनान ने मीडिया से बातचीत में यहां तक कहा कि- “दोनों नन मेरे ही लोकसभा क्षेत्र की हैं और मैं उन्हें व्यक्तिगत रूप से जानता हूं। सांसद ने आरोप लगाया कि दुर्ग में कोई धर्मांतरण हुआ और न ही मानव तस्करी की गई। यह सब एक सोची-समझी साजिश का हिस्सा है। गौरतलब है कि केसी वेणुगोपाल की पोस्ट के बाद सीएम विष्णुदेव साय सामने आए थे और उन्होंने सख्त लहजे में कहा था कि मतांतरण और मानव तस्करी के आरोप हैं। केस दर्ज हुआ है, जांच चल रही है। छत्तीसगढ़ शांत प्रदेश है, यहां इस तरह की गतिविधियों के लिए कोई जगह नहीं है।

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