छत्तीसगढ़

केवाईसी अपडेट के नाम पर ओटीपी हासिल कर 26 लाख 74 हजार की ठगी, दो गिरफ्तार

बिलासपुर। बैंक अधिकारी बनकर केवाईसी अपडेट के नाम पर ओटीपी हासिल कर 26 लाख 74 हजार 701 रुपये की ऑनलाइन ठगी करने वाले दो आरोपियों को रेंज साइबर थाना बिलासपुर की टीम ने सक्ती जिले से गिरफ्तार कर लिया है। दोनों आरोपी एक संगठित गिरोह के संपर्क में रहकर फर्जी सिम और फर्जी बैंक खातों के जरिये ठगी की घटनाओं को अंजाम दिया करते थे। 
सकरी थाना क्षेत्र निवासी जॉनसन एक्का को एक फोन कॉल आया, जिसमें खुद को बैंक अधिकारी बताकर आरोपी ने केवाईसी अपडेट करने के बहाने उसकी बैंकिंग जानकारी और ओटीपी प्राप्त कर लिया। इसके बाद पीडि़त के खाते से लोन लेकर करीब 26,74,701 रुपये की ठगी कर ली गई। इस मामले में थाना सकरी में अपराध दर्ज किया गया था, जिसकी जांच रेंज साइबर थाना बिलासपुर को सौंपी गई। जांच के दौरान बैंक स्टेटमेंट, साइबर रिपोर्टिंग पोर्टल की जानकारी और तकनीकी विश्लेषण के आधार पर यह पता चला कि ठगी की रकम जिन खातों में भेजी गई, वे खाताधारक सक्ती जिले के निवासी हैं। इसके बाद रेंज साइबर थाना की टीम ने सक्ती रवाना होकर स्थानीय पुलिस की मदद से दो संदेहियों को गिरफ्तार किया। गिरफ्तार हेमंत चंद्रा (19 वर्ष) कुसुमझर, डभरा, और रोहित रायल (28 वर्ष) फगुरम ने स्वीकार किया कि वे रबेली निवासी गांधी के संपर्क में आए थे, जिसने उन्हें बताया कि राउरकेला, आसनसोल और जामताड़ा के गिरोह को ऑनलाइन केवाईसी और निवेश के बहाने ठगी के लिए बैंक खातों की आवश्यकता होती है, बदले में मोटा कमीशन मिलता है। लालच में आकर हेमंत ने अपना और रोहित ने अपनी पत्नी अनीता रायल का बैंक खाता खुलवाया और एटीएम, मोबाइल नंबर और पासबुक गिरोह को सौंप दिए। इन खातों का उपयोग ठगी की रकम ट्रांसफर करने में हुआ। ठोस सबूत मिलने पर दोनों आरोपियों को 28 मई को विधिवत गिरफ्तार किया गया और न्यायालय में पेश कर न्यायिक अभिरक्षा में जेल भेज दिया गया।

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