छत्तीसगढ़

सुबह-सवेरे की ताबड़तोड़ दबिश से सियासी और कारोबारी गलियारों में हड़कंप

रायपुर, छत्तीसगढ़ में बहुचर्चित शराब घोटाले की जांच को लेकर राज्य आर्थिक अपराध अन्वेषण शाखा और भ्रष्टाचार निरोधक ब्यूरो (ACB-EOW) ने शनिवार सुबह एक बार फिर जोरदार कार्रवाई की। रायपुर, दंतेवाड़ा, अंबिकापुर, सुकमा और जगदलपुर समेत कुल 15 ठिकानों पर एक साथ छापा मारकर दस्तावेजों की तलाशी ली गई।

ADs ADs ADs

सुबह के समय एक साथ शुरू हुई यह कार्रवाई राजनीतिक, प्रशासनिक और व्यापारिक हलकों में सनसनी फैला गई। कार्रवाई में शामिल अफसरों की संख्या 100 से अधिक बताई जा रही है, जिससे स्पष्ट है कि इस घोटाले के तार कितने गहरे और बहुस्तरीय हैं।

सूत्रों के अनुसार, दंतेवाड़ा में कांग्रेस नेता राजकुमार तांबों के निवास और कार्यालय पर छापेमारी सबसे संवेदनशील मानी जा रही है। तांबों पूर्व मंत्री कवासी लखमा के अत्यंत करीबी माने जाते हैं और उन्हें गरीबों का नेता भी कहा जाता है। जांच टीम ने उनके परिसरों से आय से अधिक संपत्ति और शराब घोटाले से जुड़े दस्तावेजों की गहन छानबीन की।

अंबिकापुर में नामी व्यवसायी अशोक अग्रवाल के निवास पर भी कार्रवाई की गई। अग्रवाल ‘ध्वजाराम रामकुमार’ नामक प्रतिष्ठान के संचालक हैं, जो विभिन्न शासकीय विभागों को सामग्री की आपूर्ति करता है। उनका नाम पूर्व में खनिज न्यास (DMF) घोटाले में भी जुड़ चुका है, जिससे उनकी संलिप्तता अब दोहरी जांच के घेरे में आ गई है।

सुकमा जिले में भी चार स्थानों पर दबिश दी गई, जिसमें कोतवाली थाना क्षेत्र की बसंतलाल गली में स्थित एक हार्डवेयर व्यापारी के घर प्रमुख स्थान रहा। व्यापारी पर आय से अधिक संपत्ति अर्जित करने का संदेह है, जिसे लेकर टीम ने संपत्ति के कागजात, बैंक लेन-देन और हिसाब-किताब की जांच की।

हालांकि ACB-EOW की ओर से अभी तक कोई आधिकारिक बयान जारी नहीं किया गया है, लेकिन सूत्रों की मानें तो कई महत्वपूर्ण दस्तावेज जब्त किए जा चुके हैं। कई जगहों पर जब्ती सूची तैयार की जा रही है और संबंधित व्यक्तियों को जल्द पूछताछ के लिए तलब किया जा सकता है।

Leave a Reply

Your email address will not be published. Required fields are marked *

Back to top button